लोकजीवन की नयनाभिराम छवि दर्शाते नरेंद्रपाल सिंह

अनीश अंकुर मूलतः संस्कृतिकर्मी हैं, किन्तु अपनी राजनैतिक व सामाजिक अभिव्यक्ति के लिए भी जाने-पहचाने जाते हैं। उनके नियमित लेखन में राजनीति से लेकर समाज, …

पुरानी स्मृतियों को ढूंढने का नाम है ‘फारबिसगंज के बाग में’

रुचिरा गुप्ता की प्रदर्शनी गांधी संग्रहालय पटना में अनीश अंकुर मूलतः संस्कृतिकर्मी हैं, किन्तु अपनी राजनैतिक व सामाजिक अभिव्यक्ति के लिए भी जाने-पहचाने जाते हैं। …

प्रचलित छवियों व बिंबो में अपनी पहचान की तलाश

अनीश अंकुर मूलतः संस्कृतिकर्मी हैं, किन्तु अपनी राजनैतिक व सामाजिक अभिव्यक्ति के लिए भी जाने-पहचाने जाते हैं। उनके नियमित लेखन में राजनीति से लेकर समाज, …

होमटाउन एनाटोमी : सुनहरे व सन्ताप से भरे अतीत की तलाश

युवा कलाकार नरेश कुमार की एकल प्रदर्शनी अनीश अंकुर मूलतः संस्कृतिकर्मी हैं, किन्तु अपनी राजनैतिक व सामाजिक अभिव्यक्ति के लिए भी जाने-पहचाने जाते हैं। उनके …

रजा की कलाकृतियां समृद्ध चाक्षुष समझ की मांग करती हैं

अनीश अंकुर मूलतः संस्कृतिकर्मी हैं, किन्तु अपनी राजनैतिक व सामाजिक अभिव्यक्ति के लिए भी जाने जाते हैं। उनके नियमित लेखन में राजनीति से लेकर समाज, …

कला में आपको देखना आना चाहिए- युसूफ

आधुनिक कला में संवाद की आवश्यकता को देखते हुए बिहार की संस्था “रंग-विकल्प” ने दो वर्ष पूर्व ‘मूर्तिकला और बिहार’ विषय पर बातचीत श्रृंखला का …

‘सदियों तक बिहार की मूर्तिकला थी भारतीय मूर्तिकला का पर्याय’

वर्ष 2019 में बिहार की कला संस्था ‘रंगविकल्प, और बिहार म्यूजियम द्वारा एक वृहत कला आयोजन किया गया था । जिसके अंतर्गत मूर्तिशिल्प की एक …

हिम्मत शाह : सामग्री के साथ सच्चाई का नाम

विदित हो कि वर्ष 2019 में हिम्मत शाह का 86 वां जन्मदिन पटना स्थित बिहार म्यूजियम में मनाया गया था। इसी अवसर पर उनके कलाकृतियों …

रंगविकल्प’ द्वारा आयोजित चित्रप्रदर्शनी ‘संयम’

अनीश अंकुर मूलतः संस्कृतिकर्मी हैं, किन्तु अपनी राजनैतिक व सामाजिक अभिव्यक्ति के लिए भी जाने जाते हैं। उनके नियमित लेखन में राजनीति से लेकर समाज, …